आईआईएम इंदौर ने 01 फरवरी, 2019 को बिजनेस स्कूल इंपैक्ट ऑन कम्युनिटी एंड सोसाइटी की श्रेणी में MBA (AMBA) बिजनेस एक्सिलेंस अवार्ड 2019 जीतकर एक और उपलब्धि हासिल की है। लंदन में आयोजित एक शानदार समारोह में, आईआईएम इंदौर का प्रतिनिधित्व कर रहे प्रोफेसर रोहित कपूर ने यह पुरस्कार स्वीकार किया।
AMBA ने यह पुरस्कार AMBA से मान्यता प्राप्त बिजनेस स्कूलों को सम्मानित करने के उद्देश्य से शुरू किया था, जो AMBA की 'कॉर्पोरेट सोशल रिस्पॉन्सिबिलिटी' (CSR) के प्रति प्रतिबद्धता को साझा करते हैं और एक बदलाव लाने के लिए प्रयासरत हैं। यह पुरस्कार उन बिजनेस स्कूलों को मान्यता देता है, जिन्होंने एक स्थायी भविष्य बनाने और एमबीए छात्रों को सामाजिक मूल्यों के बारे में सिखाने की पहल की है। आईआईएम इंदौर को यह पुरस्कार अपने 'रूरल इमर्शन प्रोग्राम' के लिए मिला है, जो एक अनूठी पहल है, जो छात्रों को ग्रामीण क्षेत्रों में आने वाली समस्याओं को समझने और फिर उनकी मदद करने के लिए प्रोत्साहित करता है।
2009 में शुरू किया गया रूरल इमर्शन प्रोग्राम का उद्देश्य संस्थान के उभरते प्रबंधकों और उद्यमियों को गांवों में सरकार द्वारा संचालित विभिन्न योजनाओं के प्रति जागरूक करना और उनके निष्पादन और प्रभावशीलता का अध्ययन और विश्लेषण करना था।
एक सप्ताह तक चलने वाला यह प्रोग्राम, मध्य प्रदेश के कई जिलों में छात्रों को अध्ययन करने के लिए भेजता है। इसका मुख्य उद्देश्य जिला स्तर के प्रशासन के विभिन्न आयामों पर जानकारी प्रदान करना है, मुख्य रूप से नीति प्रशासन और निष्पादन अंतराल पर ध्यान केंद्रित करते हुए, ग्रामीण आबादी से जुड़े कई रूढ़ियों को समझने का है। प्रोग्राम यह सुनिश्चित करता है कि प्रतिभागियों को अपनी कक्षा की शिक्षाओं को वास्तविक वातावरण में लागू करने का मौका मिले। इसके अलावा, कार्यक्रम छात्रों को ग्रामीण बाजारों का पता लगाने और कार्यान्वयन अंतराल या व्यावसायिक अवसरों की पहचान करने का मौका प्रदान करता है, जो इन अंतरालों को भरने में मदद कर सकते हैं। यह कार्यक्रम छात्रों को सामाजिक मुद्दों के प्रति भी संवेदनशील बनाता है, जो हमारे समाज में प्रचलित हैं और विविध दृष्टिकोण प्राप्त करते हैं।
इसके साथ ही, आईआईएम इंदौर ने एमबीए इनोवेशन श्रेणी के तहत 'हिमालयन आउटबाउंड प्रोग्राम' के लिए भी प्रशंसा का प्रमाण पत्र प्राप्त किया है।
आईआईएम इंदौर के निदेशक प्रोफेसर हिमांशु राय ने इस उपलब्धि का श्रेय पूरे आईआईएम इंदौर समुदाय को दिया। "नव वर्ष की शुरुआत इससे बेहतर रूप से नहीं हो सकती थी", उन्होंने कहा। उन्होंने कहा कि "सामाजिक रूप से जिम्मेदार होने के लिए हमारे मिशन के अनुरूप हम ऐसे प्रयासों को मजबूत करना जारी रखेंगे।"
रूरल इमर्शन प्रोग्राम के बारे में, प्रोफेसर रंजीत नंबुदिरी, डीन, अकादमिक ने कहा, कि यह प्रोग्राम आईआईएम इंदौर में एमबीए कार्यक्रम का एक महत्वपूर्ण तत्व है। यह न केवल अपने आप में अनूठा है और आईआईएम इंदौर के एमबीए को देश भर में इसी तरह के अन्य कार्यक्रमों से अलग करता है, बल्कि यह सामाजिक रूप से जागरूक प्रबंधकों और युवा नेताओं को बनाने के संस्थान के मिशन से भी सीधे जुड़ता है।
निदेशक, प्रोफेसर राय ने यह भी कहा कि इस प्रोग्राम को अब "रूरल इमर्शन" से "रूरल इंगेजमेंट" तक ले जाया जाएगा। स्थानीय और राज्य सरकार के साथ एक पहल जल्द ही शुरू की जाएगी।
आईआईएम इंदौर आने वाले वर्षों में और अधिक मील के पत्थर हासिल करने के लिए तत्पर है।